आपने वाइरस और मैल्वेर का नाम तो सुना होगा और उसके बारे में तो जानते ही होगे अगर आपको नही पता तो आप चिन्ता ना करे यह पोस्ट आपके लिए ही इस पोस्ट को पड़ने के बाद वाइरस मैल्वेर ट्रोजन को लेकर किसी और पोस्ट को पड़ने की ज़रूरत नही पड़ेगी
Virus :- वाइरस एक प्रकार का कम्प्यूटर प्रोग्राम ही होता है अगर यह गलती से भी किसी एक फ़ाइल में आ जाता है तो यह पूरे कम्प्यूटर के फ़ाइल को इफ़ेक्ट करना शुरू कर देता है जैसे एक संक्रमक बीमारी होती है वैसे हाई वाइरस होता है इनका काम होता है चोमपुतेर की स्पीड को स्लो करना और उसके hard disk को नुक़सान पहुँचाना यह ज़्यादा से ज़्यादा कम्प्यूटर सिस्टम को नुक़सान पहुँचता है यह कम्प्यूटर mobiles दोनो में काम करता है। वाइरस का फ़ुल फ़ॉर्म -very important resources under suppuration या vital important resource under siege
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वाइरस |
Malware:—
Malware दो शब्दों से मिलकर बना है malicious और software यानी की एक ऐसा सोफ्टवेयर जो नुक़सान पहुँचता है जो कम्प्यूटर को नुक़सान पहुँचता है । malware और viruses में ज़्यादा अंतर नही होता है जितना वो नुक़सान पहुँचता उतना वो भी नुक़सान पहुँचता है।
Trojan:— Trojan आम भाषा में कहे तो trojan और वाइरस एक ही होते है। यह एक प्रकार का malware होता है malware कहे तो यह malicious और software की मदद से मिलकर बना होता है trojan से बहुत नुक़सान हो सकता है। trojan का main वर्क होता है डेटा को डिलीट करना और मॉडिफ़ाई करना अगर किसी कम्प्यूटर में trojan गलती से आ जाता है तो यह उस कम्प्यूटर के सारे डेटा को डिलीट कर सकता है और उस कम्प्यूटर के डेटा ब्लॉक कर सकता है। अगर किसी हैकर ने आपके कम्प्यूटर में trojan छोड़ दिया तो वह आपके कम्प्यूटर में अपना कंट्रोल बना सकता है और आपके कम्प्यूटर के साथ जो चाहे कर सकता आपके डेटा को लीक कर सकता है वह आपके एक-एक फ़ाइल को ऐक्सेस कर सकता है और आपके निजी जानकारी को भी चुरा सकता है|.
Trojan के प्रकार:—
- Remote accessing
- Data destructing
- Downloader
- Server trojan
- Security software disabler
- Denial - of -service attack ( DOS)
- Remote accessing:— इस ट्रोजन की मदद से आप किसी कम्प्यूटर को रिमोट कंट्रोल कर सकते है
- Data destructing:— यह कम्प्यूटर के सारे डेटा को नष्ट या डिलीट कर देता है।
- Downloader:— यह कम्प्यूटर में जाते ही अपने आप अनेक प्रकार के trojan को डाउनलोड कर लेता है।
- Server trojan:— यह website पर अटैक करने के काम आता है।जैसे - proxy , FTP, IRC , Email , HTTP/HTTPS आदि सर्वर पर किया जाता है।
- Security software disabler:— यह कम्प्यूटर में ऐक्टिवेट सिक्यरिटी software को डिटेक्ट कर उसे नुक़सान पहुँचता है।
- Denial - of -service attack ( DOS):— यह किसी website को क्रैश करने के लिए अटैक किया जाता है ।
Trojan का वर्गीकरण:—
Trojan का वर्गीकरण उनके कार्य के आधार पर किया जाता है जैसे-
- Backdoor
- Exploit trojan
- Trojan banker
- Rootkit
- Trojan DDOS
- Trojan downloader
- Trojan dropper
- Trojan games thief
- Trojan IM
- Trojan ransom
- Trojan SMS
- Trojan spy
- Trojan fake av
I Hope की आपको इस जानकारी से काफ़ी मदद मिली होगी अगर आपको इस पोस्ट से तोड़ा सा भी फ़्याद हुआ है तो आप मुझे कॉमेंट करके बता सकते है । और आपको इस पोस्ट से जुड़ी किसी प्रकार की जानकारी में परेशनी हो तो आप मुझे पूछ सकते है ।
Tags:
Ethical Hacking